पत्ता एक झरा
Anonymous Poems in Hindi – अज्ञेय रचना संचयन कविताएँ
सारे इस सुनहले चँदोवे से
पत्ता कुल एक झरा
पर उसी की अकिंचन
झरन के
हर कँपने में
मैं कितनी बार मरा!
Anonymous Poems in Hindi – अज्ञेय रचना संचयन कविताएँ
सारे इस सुनहले चँदोवे से
पत्ता कुल एक झरा
पर उसी की अकिंचन
झरन के
हर कँपने में
मैं कितनी बार मरा!